जानिए शगुन में क्यों दिए जाते हैं 11, 21, 51 या 101 रुपये, क्या है 1 रुपये बढ़ा कर देने का महत्व?
Mythological Beliefs: हिंदू धर्म में शुभ कार्यों आदि में शगुन देने का चलन है.शगुन में लोग एक धनराशि दिया करते हैं, लेकिन अक्सर आपने देखा होगा कि शगुन में लोग 51, 101, 501 रुपये देते हैं. अक्सर 1 रुपये बढ़कर दिया जाना शुभ माना जाता है, लेकिन क्या आप जानते हैं कि 1 रुपये बढ़ाकर क्यों दिया जाता है. अगर नहीं तो आइए जानते हैं कि इसके पीछे क्या कारण है.
Mythological Beliefs: अक्सर शुभ कार्यों जैसे शादी, गृह प्रवेश, मुंडन आदि में शगुन देने का रिवाज है. रक्षाबंधन हो या विवाह हर जगह शगुन का विशेष महत्व है. माना जाता है कि एक रुपये अधिक देना शुभ होता है. इस कारण लोग 21, 51, 101, 501 और 1001 आदि को अधिकतम शुभ और अनुकूल संख्या माना जातै है. इससे भाग्योदय होता है.
11, 21, 51, 101, 501 यह संख्या इवेन यानि पूर्णांक से एक संख्या अधिक होती है. अंक ज्योतिष में भी विषम संख्या को शुभ माना जाता है. वहीं, सिक्के में लक्ष्मी देवी का वास भी माना जाता है. एक रुपये का सिक्का शगुन में देने से माता लक्ष्मी का आशीर्वाद मिलता है. इससे सुख और समृद्धि आती है.
नकारात्मकता होती है दूर
हिंदू धर्म में पूर्णांक राशि जैसे 100, 200, 500 आदि को शुभ नहीं माना गया है. इनको पूर्णता और समाप्ति का प्रतीक माना जाता है. इससे नई शुरुआत लिए अवसर नहीं मिलता दिखाई देता है. इसी कारण इन पूर्णांक राशियों को एक रुपये बढ़ाकर दिया जाता है. इससे नकारात्मकता दूर होती है.
आगे रहने का है प्रतीक
एक अंक को जोड़ना हमेशा आगे रहने का प्रतीक माना गया है. यग शुभता और समृद्धि का प्रतीक होता है. वहीं, अक्सर लोग मानते हैं कि किसी के भी आगे 0 आने पर वह अंतिम हो जाता है. इस कारण लोग मानते हैं कि 0 संख्या वाला शगुन देने से रिश्ता भी टूट सकता है.
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